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केवाईसी कराई या नहीं, म्यूचुअल फंड हो जाएगा होल्ड

शेयर बाजार में महीनों से जारी तूफानी तेजी से निवेशकों के दृष्टिकोण में बदलाव आ रहा है. अब बड़ी संख्या में निवेशक बाजार की शानदार तेजी का फायदा उठाना चाहते हैं और इसके लिए वे अपने निवेश के तरीकों में बदलाव कर रहे हैं. इस बदलाव से म्यूचुअल फंडों को फायदा हो रहा है और उनके निवेशकों की संख्या तेजी से बढ़ रही है. इस बीच म्यूचुअल फंड के निवेशकों के लिए नियमों में कुछ जरूरी बदलाव किए गए हैं.

नए सिरे से केवाईसी अनिवार्य

एक जरूरी बदलाव केवाईसी यानी नो योर कस्टमर से जुड़ा हुआ है. बाजार नियामक सेबी ने म्यूचुअल फंड के निवेशकों के लिए नए सिरे से केवाईसी अनिवार्य कर दिया है. पहले इसकी डेडलाइन 31 मार्च तय की गई थी और कहा गया था कि उससे पहले जो निवेशक फ्रेश केवाईसी नहीं कराएंगे, उनके म्यूचुअल फंड अकाउंट को ब्लॉक कर दिया जाएगा.

होल्ड हो जाएगा आपका अकाउंट

हालांकि बाद में नियामक ने म्यूचुअल फंड के निवेशकों को बड़ी राहत दी और कहा कि फ्रेश केवाईसी नहीं कराने पर भी अकाउंट को ब्लॉक नहीं किया जाएगा, बल्कि उसे सिर्फ होल्ड किया जाएगा. जैसे ही निवेशक फ्रेश केवाईसी कराएंगे, उनके म्यूचुअल फंड अकाउंट से होल्ड हटा दिया जाएगा. यह हर उस म्यूचुअल फंड इन्वेस्टर के लिए जरूरी है, जिन्होंने आधार वेरिफिकेशन के अलावा किसी भी दूसरे तरीके से केवाईसी कराई थी.

अभी चेक करें केवाईसी का स्टेटस

यहां सबसे जरूरी यह चेक करना हो जाता है कि आपने अपने म्यूचुअल फंड अकाउंट की केवाईसी कैसे कराई थी? अभी नियमों में बदलाव के बाद क्या आपको भी केवाईसी कराने या उसे मोडिफाई कराने की जरूरत है? आप केवाईसी का स्टेटस चेक कर ये सारी बातें मालूम कर सकते हैं, जिसकी प्रक्रिया कुछ इस तरह है.

ऑनलाइन स्टेटस चेक करने का प्रोसस

  • सबसे पहले https: //www.cvlkra.com/ पर विजिट करें
  • अब आप केवाईसी इन्क्वायरी (KYC Inquiry) पर क्लिक करें
  • आपको अपना पैन अकाउंट नंबर सबमिट करना होगा
  • अब आपको केवाईसी के स्टेटस के बारे में पता चल जाएगा

स्टेटस के साथ मिलेगी ये जानकारी

आपकी केवाईसी का स्टेटस ऑन होल्ड, रजिस्टर्ड, वैलिडेटेड या रिजेक्टेड में से कुछ बताया जाएगा. केवाईसी के स्टेटस के साथ ही आपको यह भी बता दिया जाएगा कि आपकी केवाईसी का चार्ज किस केवाईसी रजिस्टर्ड अथॉरिटी (केआरए) के पास है. अगर आपकी केवाईसी का स्टेटस रिजेक्टेड या ऑन होल्ड है तो आपको फ्रेश केवाईसी की जरूरत पड़ने वाली है.

होल्ड होने पर ये नुकसान

केवाईसी के ऑन होल्ड होने का मतलब है कि आप कई सेवाओं का लाभ नहीं उठा सकते हैं. इस स्थिति में आप नई एसआईपी (Systematic Investment Plan) नहीं शुरू कर सकते हैं. आप कोई नया निवेश नहीं कर सकते हैं. इतना ही नहीं, बल्कि आप पुराने निवेश को रिडीम भी नहीं कर सकते हैं. ये सारी सुविधाएं पाने के लिए आपको नए सिरे से केवाईसी की जरूरत पड़ने वाली है.

वैलिड डॉक्यूमेंट में भी बदलाव

सेबी ने केवाईसी डॉक्यूमेंटेशन में भी कुछ बदलाव किया है. नए वित्त वर्ष की शुरुआत यानी 1 अप्रैल 2024 से ये बदलाव लागू हो चुके हैं. अब कुछ चुनिंदा डॉक्यूमेंट के साथ ही निवेशक फ्रेश केवाईसी करा सकते हैं. पहले केवाईसी कराने में बैंक स्टेटमेंट या यूटिलिटी बिल जैसे दस्तावेजों का इस्तेमाल होता था. अब वैलिड डॉक्यूमेंट की लिस्ट से बैंक स्टेटमेंट और यूटिलिटी बिल को हटा दिया है.

अब केवाईसी में सिर्फ ये डॉक्यूमेंट वैलिड हैं

  1. आधार कार्ड
  2. पासपोर्ट
  3. ड्राइविंग लाइसेंस
  4. वोटर आई कार्ड
  5. नरेगा जॉब कार्ड.
  6. रेगुलेटर के साथ एग्रीमेंट के तहत केंद्र के द्वारा स्वीकृत कोई अन्य दस्तावेज

ऐसे करा सकते हैं फ्रेश केवाईसी

अगर आपने नॉन-वैलिड डॉक्यूमेंट के साथ केवाईसी कराई थी, तो आपको फ्रेश केवाईसी के लिए ऑफलाइन जाना होगा. इसके लिए आपको अपने सर्विस प्रोवाइडर या फंड हाउस के दफ्तर का विजिट करना पड़ेगा. वैलिड डॉक्यूमेंट के साथ केवाईसी करा चुके इन्वेस्टर ऑनलाइन आधार वैलिडेशन के जरिए फ्रेश केवाईसी करा सकते हैं. इसके लिए आपको अपने संबंधित केआरए की वेबसाइट पर विजिट करना होगा और बताई गई प्रक्रिया का पालन करना होगा.

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